शिवपुरी। जिले के सरकारी स्कूलों खासतौर पर ग्रामीण आदिवासी बाहुल्य क्षेत्रों के स्कूलों में बच्चों की शत्-प्रतिशत उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए डीपीसी दफेदार सिंह सिकरवार द्वारा अपनी टीम के साथ नवाचार के रूप में रात्रि चौपाल लगाई जा रही है। जिसमें अभिभावकों से संवाद कायम कर उन्हें शिक्षा का महत्व बताकर बच्चों को प्रतिदिन समय पर स्कूल भेजने के लिए प्रेरित किया जा रहा है इस नवाचार को ग्रामीणों का भी सकारात्मक सहयोग मिल रहा है।
ऐसी ही रात्रि चौपाल बीती रात आदिवासी बस्ती सेंवड़ा व कलोथरा में लगाई गई जिसमें करीब 300 महिला-पुरुष शामिल हुए। इस दौरान परहित संस्था के मनोज भदौरिया भी मौजूद रहे। डीपीसी ने ग्रामीणों को स्थानीय भाषा में शिक्षा से सफलता और उसके महत्व की समझाइश दी तथा कहा कि स्कूल भेजने के अलावा वे घर पर भी बच्चों को पढऩे व होमवर्क करने के लिए प्रेरित करें।
बीआरसीसी बालकृष्ण ओझा ने कहा कि हर महीने के पहले शनिवार को पालक शिक्षक संघ की बैठक आयोजित होती है उसमें आप सभी अभिभावकों को शामिल होना चाहिए और बच्चों से संबंधित समस्या को लेकर चर्चा व समाधान इस बैठक में किया जा सकता है। डीपीसी सिकरवार ने अभिभावकों को विश्वास दिलाया कि स्कूल समय से खुलेंगे और यहां शासन की योजनाओं का लाभ भी आपके बच्चों को मिलेगा और यदि स्कूल से जुड़ी कोई समस्या हो तो सीधे हमसे शिकायत करें उसका तत्काल निराकरण किया जाएगा।
इस दौरान सेंवड़ा संकुल प्रभारी राजेश कम्ठान ने कहा कि अभी परीक्षा का समय चल रहा है इसलिए बच्चों को परीक्षा जरूर दिलाएं। एफएलएन प्रभारी रितिका ने कहा कि अमीर हो या गरीब शिक्षा से दोनों को ही बराबर लाभ मिलेगा। यह नहीं सोचना चाहिए कि हम गरीब हैं तो पढ़-लिखकर क्या करेंगे। परहित संस्था के राघवेन्द्र सिंह ने कहा कि संस्था के सदस्य व शिक्षक बच्चों को घर-घर बुलाने जाते हैं बावजूद इसके कई अभिभावक उन्हें स्कूल नहीं भेजते जिससे वे शिक्षा से वंचित रह जाते हैं।
इस दौरान कलोथरा की सरपंच रामश्री आदिवासी ने सभी अभिभावकों को शपथ दिलाई कि बच्चों को प्रतिदिन समय पर स्कूल भेजेंगे। रात्रि चौपाल के दौरान प्रमुख रूप से शकीर अहमद खान, दयाराम जाटव, सुनील वर्मा, भरत धाकड़, नरेन्द्र धाकड़, गोपाल श्रीवास्तव भरत पाल, संस्थाराम वर्मा, सुनील शर्मा, बहादुर सिंह आदि मौजूद रहे।