शिवपुरी। सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकंडरी एजुकेशन (सीबीएसई) कक्षा 12वीं की परीक्षाएं 15 फरवरी से लेकर 4 अप्रैल-2025 तक 2025 10वीं और 15 फरवरी से 18 मार्च तक होंगी। नए साल में परीक्षा शुरू होने से पहले पढ़ाई का शेड्यूल टाइट रहेगा। बच्चों के पास अन्य कार्य के लिए समय नहीं बचेगा क्योंकि बोर्ड की प्रैक्टिकल परीक्षाएं 1 जनवरी से शुरू होंगी।
दूसरी तरफ बोर्ड परीक्षाओं में विद्यार्थी बेहतर परिणाम लाएं, इसके लिए रेमेडियल कक्षाएं भी लगाएं जाएंगी। ऐसे ऐसे में विद्यार्थियों के पास अन्य कार्य के लिए वक्त नहीं रहेगा। जिले में सीबीएसई बोर्ड से संबद्धता वाले 2 केंद्रीय विद्यालय सहित 15 अशासकीय स्कूल हैं। इसमें कक्षा 10वीं और 12वीं में 3 हजार से ज्यादा विद्यार्थी अध्ययनरत हैं।
परीक्षा के लिए बोर्ड ने गाइड लाइन जारी कर दी है। बोर्ड ने स्कूलों को निर्देश जारी करते हुए कहा है कि स्कूल सभी प्रैक्टिकल परीक्षा, प्रोजेक्ट और इंटरनल असिस्टेंट के मार्क्स परीक्षा के दिन ही सीबीएसई की साइट पर अपलोड कर दें। वहीं इंटरनल और एक्सटर्नल एग्जामिनेशन इस बात को सुनिश्चित कर लें कि जो मार्क्स अपलोड किए हैं, वे सही हों। अगर स्कूलों द्वारा बोर्ड के निर्देशों का पालन नहीं किया है तो बोर्ड प्रैक्टिकल परीक्षाएं रद्द कर देगा।
सीबीएसई ने स्कूलों और छात्रों को निर्देश जारी करते हुए कहा कि प्रैक्टिकल परीक्षा, प्रोजेक्ट, आंतरिक मूल्यांकन में छात्रों को दिए अंकों का खुलासा नहीं होना चाहिए। प्रैक्टिकल परीक्षा के मार्क्स की महत्ता बोर्ड की वार्षिक थ्योरी परीक्षाओं में प्राप्त अंकों के समान ही है। किसी भी परिस्थिति में छात्रों या किसी भी व्यक्ति को इसका खुलासा नहीं किया जाएगा।
रिविजन के साथ ही विद्यार्थियों के डाउट्स क्लियर करेंगे
बोर्ड परीक्षाओं में विद्यार्थी बेहतर परिणाम लाएं, इसके लिए रेमेडियल कक्षाएं भी लगाएं जाएंगी। इसमें खासतौर से उन विद्यार्थियों को शामिल किया जाएगा जिन्होंने हाल ही में प्री-बोर्ड परीक्षा दी है। परीक्षाओं के अंक अपलोडिंग में कोई गलती न हो अंक अपलोड करते समय, स्कूलों, इंटरनल और एक्सटर्नल एग्जामिनर्स को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि सही अंक अपलोड किए ए गए हों।
एक बार अंक अपलोड हो जाने के आधार पर उन्हें रेमेडियल कक्षाओं में बैठने का मौका मिलेगा। जिन विद्यार्थियों का स्कोर कम और एवरेज होगा, यह कक्षाएं खासतौर से उनके लिए होगी। इसके अलावा बीमारी बाद कोई सुधार नहीं किया जा सकेगा।
स्कूलों और परीक्षकों को अंकों को अपलोड करते समय सीबीएसई द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार प्रैक्टिकल/प्रोजेक्ट इंटरनल असेसमेंट के लिए आवंटित अधिकतम अंकों को भी या अन्य किसी वजह से जिन विद्यार्थियों की ठीक ढंग से तैयारी नहीं हो पाई है। वह भी इन कक्षाओं के हिस्सा बनेंगे। इसमें सिलेबस रिविजन से लेकर शिक्षक विद्यार्थियों के डाउट्स क्लियर करेंगे।