शिवपुरी। शिवपुरी जिले के सरकारी शिक्षकों की 12 वर्षीय एवं 24 वर्षीय प्रोन्नति में विभागीय अधिकारी एवं स्थापना शाखा सहित डीईओ कार्यालय के कर्मचारी लगातार लगे हुए हैं तथा संकुलवार एवं प्रखंडवार प्रोन्नति सूची तैयार की जा रही है. इन सबके बीच अब जिला शिक्षा अधिकारी समर सिंह राठौड़ पदोन्नति में देरी के लिए जिम्मेदार जिले के संकुलों पर सख्त हो गए हैं।
संकुलों से त्रुटिपूर्ण एवं अपूर्ण जानकारी के कारण ऐसे संकुल प्राचार्यों को नोटिस जारी कर कार्रवाई में देरी के संबंध में जवाब देने को कहा गया है।
पदोन्नति प्रक्रिया के लिए डीपीसी कमेटी उन प्रस्तावों की जांच कर रही है, जिनमें कई समूहों से निर्धारित प्रोफार्मा पर भेजे गए पदोन्नति प्रस्तावों और सूचनाओं में भारी त्रुटियां सामने आई हैं। इसे लेकर जिला शिक्षा अधिकारी समर सिंह राठौड़ ने बदरवास के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय कन्या नरवर और उच्चतर माध्यमिक विद्यालय इंदार के संकुल प्राचार्यों को न केवल नोटिस जारी किए हैं, बल्कि अधूरी फाइलों को तत्काल वापस कर दोबारा भेजने के निर्देश भी दिए हैं।
इन नोटिसों में डीईओ राठौड़ ने स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि नवीन शैक्षणिक संवर्ग में प्रथम एवं द्वितीय पदोन्नति के संबंध में लोक सेवकों की अलग-अलग पत्रावलियां पूर्ण रिकार्ड के साथ भेजी जानी थी, लेकिन समिति की जांच में पाया गया कि लोक सेवकों की फोटोकॉपी फाइलों में लगे अभिलेखों में आदेश अपठनीय हैं, सीआर फार्म पर वोटिंग नहीं हुई है, जबकि प्रस्ताव में वोटिंग में अंतर है और कई प्रस्तावों पर प्राचार्य के हस्ताक्षर नहीं हैं।
इतना ही नहीं प्रोन्नति के लिए अनिवार्य सेवा पुस्तिका के निर्धारित पृष्ठ की छाया प्रति भी संलग्न नहीं की गयी है. ऐसे में इन क्लस्टरों में न केवल फाइलें लौटा दी गई हैं, बल्कि तत्काल सुधार के बाद फाइलें दोबारा तलब की गई हैं। आपको बता दें कि पहले चरण में 378 पात्र शिक्षकों के पदोन्नति आदेश जारी किए जा चुके हैं और कार्यालय का पूरा स्टाफ छुट्टियों के दिन भी लगातार इस काम में लगा हुआ है. संभवत: आज करीब 700 और पात्र प्राथमिक शिक्षकों की प्रमोशन सूची जारी हो सकती है।