शिवपुरी। लोकसभा निर्वाचन के चलते श्रीमंत माधवराव सिंधिया शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय में आयोजित की जा रही बीए तृतीय वर्ष की परीक्षा कराने से प्राचार्य प्रोफेसर महेंद्र कुमार ने इनकार करते हुए कहा कहा कि यहां ईवीएम रखी हुई हैं, ऐसे में विद्यार्थियों की परीक्षा कराना संभव नहीं। इसलिए परीक्षा की तिथि 4 जून के बाद की दी जाए। शाम तक जीवाजी विश्वविद्यालय ने आदेश जारी कर सभी परीक्षाएं आगामी आदेश तक स्थगित कर दीं।
दरअसल स्नातक प्रथम, द्वितीय वर्ष के साथ स्नातकोत्तर की परीक्षाएं पहले ही निरस्त कर दी हैं। इसके लिए चुनाव बाद नया कार्यक्रम जारी किया जाएगा। हालांकि फाइनल ईयर के विद्यार्थियों को आगे इंटरव्यू व अन्य जगह प्रवेश लेने में समस्या न आए, इसके लिए स्नातक तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों की परीक्षा कराई जा रही थीं, लेकिन श्रीमंत माधवराव सिंधिया शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय के प्राचार्य प्रोफेसर महेंद्र कुमार ने महाविद्यालय परिसर में चुनावी गतिविधियों का संचालन के साथ-साथ ईवीएम रखी होने के चलते परीक्षा करने से हाथ खड़े कर दिए हैं।
उनका कहना है कि यहां तगड़ी सुरक्षा व्यवस्था है और कक्ष भी बंद है। ऐसे में विद्यार्थियों की परीक्षा संभव नहीं है। इसलिए बीए तृतीय वर्ष के विद्यार्थियों की परीक्षा 4 जून के बाद कराई जाए, क्योंकि 4 जून तक लोकसभा चुनाव का परिणाम जारी होगा और मतगणना भी कॉलेज परिसर में ही है। ऐसे में मतपेटियों की सुरक्षा भी होनी है, और विद्यार्थियों के भविष्य को भी देखना है। इसलिए महाविद्यालय छात्र-छात्राओं की परीक्षा बीए फाइनल वर्ष के लिए फिलहाल वह करने में असमर्थ हैं। इसकी आगामी तिथि घोषित की जाए। हालांकि जीवाजी विश्वविद्यालय शाम को परीक्षाएं स्थगित करने का आदेश जारी कर दिया।
बिना परीक्षा परिणाम के ही लेगें छात्र अगले सत्र में प्रवेश
प्रथम व द्वितीय वर्ष की परीक्षा का परिणाम 15 से 31 अगस्त के बीच आ सकता है। संभावना है कि तब तक के लिए प्रथम वर्ष वालों को द्वितीय वर्ष में और द्वितीय वर्ष वालों को तृतीय वर्ष में अस्थायी प्रवेश दे दिया जाएगा, ताकि परीक्षा में देरी होने के कारण उनका शैक्षणिक सत्र ज्यादा प्रभावित न हो।
रिजल्ट आने के बाद यदि विद्यार्थियों के पूरक या एटीकेटी आती है तो भी वे विद्यार्थी शिक्षण सत्र में अध्ययनरत रहेंगे। अक्टूबर-नवंबर में होने वाली पूरक परीक्षा देकर पास हो सकते हैं। यदि वे इस बार भी पास नहीं हो पाते हैं तो उन्हें शैक्षणिक सत्र से बाहर होना पड़ेगा, और फिर नए सत्र में स्वाध्यायी के रूप में परीक्षा देनी होगी।
चुनाव के बाद नवीन कार्यक्रम जारी होगा
यदि महाविद्यालय प्रबंधन ने परीक्षा समय पर नहीं कराई तो फिर विद्यार्थियों का पूरा शैक्षणिक सत्र बिगड़ सकता है। परीक्षा न करने की दूसरी वजह यह भी है कि चुनाव में स्टाफ की ड्यूटी लगने के कारण स्नातक प्रथम व द्वितीय वर्ष के साथ स्नातकोत्तर की परीक्षाओं को जीवाजी विश्वविद्यालय द्वारा निरस्त कर दिया है। इसके लिए अब चुनाव बाद नवीन कार्यक्रम जारी किए जाने की संभावना है। जिले में 6 हजार से अधिक विद्यार्थी प्रथम व द्वितीय वर्ष में अध्ययनरत हैं। निर्वाचन के चलते प्रथम व द्वितीय वर्ष के विद्यार्थियों की परीक्षा देरी से होगी जिससे उनका शैक्षणिक सत्र प्रभावित होगा।
कुलसचिव को लिखा था परीक्षा निरस्त करें
देखिए, हम तो विद्यार्थियों की परीक्षा करा ही रहे थे, लेकिन महाविद्यालय में पूरी चुनावी प्रक्रिया का संचालन हो रहा है। ईवीएम जैसी मशीन की सुरक्षा भी अनिवार्य है, ऐसे में हमने कुलसचिव को लिख दिया है कि परीक्षाएं निरस्त कर दें, ताकि चुनाव के बाद इत्मीनान के साथ यह परीक्षाएं हो सके। महेंद्र कुमार, प्राचार्य, श्रीमंत माधवराव सिंधिया शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय शिवपुरी।