शिवपुरी। बारिश के सीजन में जब भी उमस और गर्मी बढ़ती है कंजेक्टिवाइटिस वायरस फैलने की संभावना सबसे अधिक होती है और इससे आंखें लाल हो जाती है और उनमें सूजन आ जाती है। यह एक तरह की आंखों की बीमारी है जिसे आंख आना या पिंक आई भी कहते हैं" उक्त जानकारी शिवपुरी जिले के प्रख्यात नेत्र चिकित्सक डॉक्टर गिरीश चतुर्वेदी ने स्थानीय दून पब्लिक स्कूल के मीट एंड ग्रीट कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित होकर बच्चों को दी।
आपने बताया कि उक्त बीमारी संक्रामक है जो आसानी से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकती है। ऐसी स्थिति में हमें इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति के किसी भी सामान को छूना नहीं है। सार्वजनिक वाटर पार्क, स्विमिंग पूल में जाने से बचना है। यह बीमारी पीड़ित व्यक्ति की आंखों को देखने से नहीं पर छूने से जरूर होती है।
विद्यार्थियों के साथ सीधे सरल तरीके से किया संवाद
आपने स्कूली बच्चों को आंखों की सुरक्षा और होने वाली बीमारी से बचाव के लिए प्रभावशाली पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन भी दिया जिसके माध्यम से उन्होंने बताया कि आई फ्लू होने पर स्कूल जाने से बचें। यदि किसी को आई फ्लू है तो उसकी बुक्स, पेन, लंच बॉक्स, ड्राइंग बॉक्स को न छुएं। आंखों पर चश्मा लगाए, बार-बार हाथ धोएं। सोने वाली चादर तकिया को नियमित रूप से बदलें। घर पर टीवी रिमोट, मोबाइल फोन, डोर हैंडल, फ्रिज हैंडल को न छुएं। आंखों के मेकअप से और उन्हें छूने से बचें। दिन में चार-पांच बार अपनी आंखों को साफ पानी से धोएं। डॉक्टर गिरीश चतुर्वेदी ने बच्चों के सवालों के भी जवाब बड़े ही सरल और सहज तरीके से दिए।
पूरे कार्यक्रम के दौरान बच्चे बड़े ही उत्साहित और सजग दिखे और उन्होंने आपकी बताई नसीहतों पर घर व स्कूल में ध्यान देने का वचन दिया। कार्यक्रम के अंत में स्कूल की संचालिका डॉक्टर खुशी खान व शाहिद खान ने डॉक्टर गिरीश चतुर्वेदी जी को धन्यवाद ज्ञापित कर स्मृति चिन्ह प्रदान किया।