शिवपुरी। गरीबों के निवाले पर रसद माफिया एवं राशन दुकान संचालकों द्वारा आये दिन डाका डाला जा रहा है ऐसा ही एक मामला पोहरी अनुविभाग में देखने में आया जिसमें गरीबों के हक का राशन कंट्रोल संचालक द्वारा डकार लिया गया, तीन माह चली जॉंच उपरांत प्रभारी आपूर्ति अधिकारी की सूचना पर समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता के खिलाफ पोहरी कोतवाली में भादवि की धोखाधडी,अमानत में खयानत के साथ ही आवश्यक वस्तु अधिनियम की धाराओं का मामला दर्ज किया गया है।
जानकारी के अनुसार जाखनौद उचित मूल्य की दुकान का संचालन प्राथमिक वनोपज सहकारी संस्था मर्यादित बिलौआ द्वारा किया जाता था जिस पर उच्च न्यायालय की खण्डपीठ ग्वालियर के आदेश उपरांत दुकान का संचालन ग्रामीण महिला बहुउद्देशीय संस्था मर्यादित कृष्णगंज पोहरी को अनुविभागीय अधिकारी पोहरी के आदेश क्र/खाद्य/2023/599 दिनांक 19 जनवरी 2023 के अनुसार प्रदान किया गया।
प्राथमिक वनोपज सहकारी संस्था मर्यादित बिलौआ द्वारा गरीबों की थाली में पहुंचने वाले सरकारी राशन को कालाबाजारी कर बेच दिया गया, जिसका पता पीओएस मशीन में दर्ज भण्डार अनुसार नहीं पाया गया, उचित मूल्य की दुकान का प्रभार सौंपते समय समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता द्वारा पीओएस मशीन में दर्ज स्टॉक को भैातिकरूप में नहीें सौंपा गया।
पीओएस मशीन में दर्ज स्टॉक अनुसार 7617 किग्रा गेंहू, 16453 किग्रा चावल, 55 किग्रा मूंग दाल, 44 किग्रा शक्कर, 199 किग्रा नमक सहकारी संस्था बिलौआ द्वारा प्रभार देते समय भैतिक सत्यापन में प्रदान किया गया जबकि 7617 किग्रा गेंहू, 4453 किग्रा चावल, 55 किग्रा मूंग दाल, 7 किलो 300 ग्राम शक्कर प्रभार में नहीं दिया गया जिसकी बाजार अनुसार कीमत 3 लाख 8 हजार 92 रू होती है।
जिसके संदर्भ में तीन माह बाद 13 मार्च 2023 को प्राथमिक वनोपज सहकारी संस्था बिलौआ के समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता को कारण बताओं सूचना पत्र जारी किया गया परंतु इसका जबाब न देने के कारण अनुविभागीय अधिकारी पोहरी पोहरी द्वारा आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत 19 अप्रैल को कारण बताओं सूचना पत्र जारी किया गया जिसके बाद भी समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता द्वारा शेष राशन का भौतिक प्रभाव न देने के चलते कलेक्टर शिवपुरी को प्रतिवेदन भेजा गया।
जिलाधीश शिवपुरी के 26 मई 2023 को जारी पत्र के आधार पर प्राथमिक वनोपज सहकारी संस्था बिलौआ के समिति प्रबंधक राजकुमार धानुक, विक्रेता पुष्पेंद्र यादव एवं सहायक विक्रेता सुघरसिंह यादव के विरुद्ध सार्वजनिक वितरण प्रणाली नियंत्रण आदेश 2015, आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 की धारा 3/7 सहित भादवि की धोखाधड़ी की धारा 420, गवन की धारा 409 के तहत पोहरी थाने में कनिष्ठ आपूर्ति अधिकारी की रिपोर्ट पर प्राथमिकी दर्ज की गई है।
आखिर 5 माह तक क्या करता रहा आपूर्ति विभाग
धोखाधडी एवं अमानत में खयानत का मामला उचित मूल्य की दुकान का प्रभार सौंपते समय ही उजागर हो गया था परंतु पॉच माह का लम्बा समय आखिर किस कारण से राशन माफियाओंं को प्रदान किया गया यह समझ से परे है, जब पीओएस मशीन एवं भैतिक सत्यापन में मिलान में अंतर पाया गया था तो फिर क्यों तत्काल कार्यवाही नहीं की गई, यह प्रश्नचिन्ह लगना तों लाजमी है।
जिले की समस्त दुकानों का हो भौतिक सत्यापन
जिले भर में राशन माफियाओं का जाल फैला हुआ है जिसके तार भोपाल तक जुड़े हुए हैं राजनीतिक हस्तक्षेप अधिक होने के कारण राशन दुकानों का संचालन भी ऐसे लोगों को प्राप्त होता है जो कहीं न कहीं अपना रूतबा रखते हैं, यदि दुकानों का भौतिक सत्यापन पूर्ण ईमानदारी एवं निष्पक्षता के साथ किया जाये तो एेसी कहानी सैकड़ों उचित मूल्य की दुकानों की निकलेंगी। उचित मूल्य की दुकानों का संचालन करने वाली संस्थाओं के संचालक, समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता की संपत्ति की जांच करा ली जाये तो बोलेरो एवं स्कॉर्पियो वालों का राज उजागर हो जाएगा, परंतु ऐसी कल्पना करने की संभावना भी नगण्य नजर आती है।
जांच उपरांत पीओएस मशीन में दर्ज मात्रा अनुसार राशन का प्रभार समिति प्रबंधक, विक्रेता एवं सहायक विक्रेता द्वारा नोटिस के उपरांत भी नहीं दिया गया था जिसके चलते उन लोगों के विरूध्द पोहरी थाने में मामला दर्ज कराया गया है।
शिवदयाल धाकड़,अनुविभागीय अधिकारी पोहरी