SHIVPURI NEWS-10 साल की किशोरी का सौदा 14 हजार रुपए में,15 वर्षीय भाई ने पुलिस की मदद से बचाया

Bhopal Samachar
बदरवास। खबर शिवपुरी जिले के बदरवास थाना सीमा मे आने वाले दीगोद कंचनपुर से मिल रही है कि दीगोद कंचनपुर गांव में रहने वाली एक 10 साल की किशोरी का सौदा उसी के ताऊ ने 14 हजार रुपए में कर दिया। ताऊ अपनी 10 साल की भतीजी की शादी 22 साल के लडके से तय कर दी,लेकिन इस शादी की भनक किशोरी के 15 साल के भाई को लग गई उसने विरोध करते हुए डायल 100 की मदद ली। सूचना के बाद बदरवास थाना पहुंची महिला बाल विकास के अधिकारियों ने पंचनामा बना कर मामले को खत्म कराया।

पहले समझे नाबालिग के बारे में
दीगोद कंचनपुर की रहने वाली 10 साल की आदिवासी नाबालिग बालिका की मां का देहांत हो चुका है। पिता मजदूरी करने दूसरे गांव चले जाते थे। नाबालिग का एक 15 साल का बड़ा भाई भी है जो किसी होटल पर वेटर है और ज्यादातर वह होटल पर ही रूकता था। बिन मां की नाबालिग बालिका अपने चाचा ताऊ के साथ उन्हीं के घर पर रह रही थी।

ताऊ ने 14 हजार में कर दिया था सौदा
जानकारी के अनुसार मासूम के ताऊ ने अपनी 10 साल की भतीजी का सौदा हथनापुर गांव के रहने कोमल आदिवासी के बेटे कल्ला उम्र 22 साल के साथ तय कर दिया। शुक्रवार को दीगोद कंचनपुर गांव में पैसे लेने के बाद 22 साल के कल्ला की शादी 10 साल की बालिका के साथ रचाई जा रही थी। लेकिन शादी की सूचना होटल पर मजदूरी कर रहे भाई को नहीं दी गई थी और न ही फुलपुरा गांव में मजदूरी करने गए नाबालिग के पिता को बेटी की शादी का पता था। गुपचुप तरीके से ताऊ द्वारा यह बाल विवाह कराया जा रहा था।

भाई को लग गई थी बहन के बाल विवाह की भनक
बताया गया है कि दीगोद कंचनपुरा गांव में 10 साल की नाबालिग का विवाह उसके ताऊ द्वारा 22 साल के युवक के साथ रचाया जा रहा था इस बात की भनक नाबालिग बालिका के 15 साल के भाई को लग गई थी भाई ने गांव पहुच कर इस विवाह का विरोध किया था। इस दौरान बालिका के भाई को उसके ताऊ ने एक कमरे में बंद कर दिया था लेकिन जैसे-तैसे नाबालिग बालिका का भाई उस कमरे से निकलने में कामयाब हो गया था। इसी दौरान नाबालिग बालिका को उसका भाई ताऊ के चंगुल से आजाद कराने के लिए गांव से भाग गया।

भाई ने मांगी थी पुलिस से मदद
गांव के बाहर आने के बाद बालक ने फोन पर डायल 100 को सूचना दी थी। सूचना के बाद मौके पर पहुंची डायल हंड्रेड, बालक और उसकी नाबालिग बहन को बदरवास थाने ले जाया गया था। जहां पीछे से नाबालिग बालिका के ताऊ और लड़के पक्ष के लोग भी पहुंच गए थे। सूचना के बाद मौके पर पहुंची महिला बाल विकास की पर्यवेक्षक अंगूरी देवी उपाध्यक्ष ने दोनों पक्षों को समझा-बुझाकर इस बाल विवाह को रुकवाया और अब ताऊ द्वारा 14 हजार रुपए की ली गई। राशि लड़के पक्ष को देनी होगी। इसका एक पंचनामा भी बनाते हुए नाबालिग के बाल विवाह को रुकवाया गया।