काजल सिकरवार@ शिवपुरी। पिछले 3 दिनो से मीडिया में सिर्फ कूनो की चीते चल रहे हैं,नामीबिया से चीते कूनो में आ चुके है। आज भारत के पीएम नरेन्द्र मोदी ने अपने हाथो से 3 चीते कुनो में मुक्त किए हैं। सोशल पर आज सुबह से लेकर दोपहर तक चीतों की वीडियो शेयर आमजन ने की है। अभी तक चीते चल रहे थे अब नाम चल रहे है। लोग अपने अपने हिसाब से चीतो के नाम बता रहे हैं।
नाबीमियो से आए चीतों के लिए अभी कूनो का माहौल पूरी तरह से अलग है ऐसे में वह कुछ सहमे सहमे नजर आ रहे हैं। अभी माहौल में एडजेस्ट होने में उनको कुछ समय लगेगा इसी वजह से चीतों को फिलहाल आमजन नहीं देख सकेंगे।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज तीन चीताें काे बड़े बाड़े में छोड़ा, जबकि बाकी पांच चीताें काे छाेटे बाड़े में रखा गया है। अब लाेगाें काे बेसब्री से इनके नामकरण का इंतजार है। जिम्मेदार अफसर भी जल्द ही नामकरण की बात कर रहे हैं। हालांकि इंटरनेट मीडिया पर अभी से चीताें के नामकरण काे लेकर कयासाें का दाैर शुरू हाे गया है।
खबर है कि करीब तीन माह तक चीताें काे क्वारंटाइन बाड़े में रखा जाएगा। चीताें काे भले ही लोग अभी केवल टीवी या इंटरनेट मीडिया पर ही देख सके हैं लेकिन जल्द ही लाेग चीताें का दीदार कर सकेंगे। उधर इंटरनेट मीडिया पर चीताें के नामकरण को लेकर चर्चाओं का दौर शुरू हाे गया है।
लोग नाम को लेकर अपने-अपने सुझाव भी दे रहे हैं। किसी का कहना है कि नामीबिया से चीते आए हैं' इसलिए इनका नाम भी कुछ स्टाइलिश होना चाहिए ऐसे लाेग चीताें के नाम रैंबो, राकी और जैकी जैसे सुझा रहे हैं। वहीं देश प्रेमी लाेगाें का कहना है कि चीते अब भारत आ चुके हैं इसलिए उनका नाम भी भारतीय ही होना चाहिए। ऐसे में लाेग राजा सुल्तान जैसे नाम दे रहे हैं।
हालांकि विभागीय सूत्रों की मानें तो नामकरण ताे हाेगा लेकिन अभी इसमें कुछ समय लगता है। चीतों का नाम अभी उनके व्यवहार पर रखा जाऐगा। आमतौर पर जब तक वन्य जीव को क्वारंटाइन जाेन में रखा जाता है, उनका नामकरण नहीं होता है। जब वह खुले मैदान में आमजन के सामने आते हैं तब उनका नामकरण किया जाता है। ऐसे में अभी नामकरण में कुछ समय लग सकता है।